
जयपुर से दिल दहला देने वाली तस्वीर सामने आई है जहां पर जयपुर-अजमेर हाईवे के भांकरोटा में भीषण गैस हादसे में 14 लोगों की मौत और 40 से ज्यादा गंभीर रूप से घायल हो गए। हालांकि अग्निकांड के निशान दूसरे दिन भी भयावह मंजर की कहानी बयां कर रहे थे।
- आखिर क्या है जयपुर टैंकर ब्लास्ट की कहानी ?
- कौन है जिम्मेदार ?
- कितने लोगों की हुई मौत?
- कौन बना चश्मदीत ?
- आखिर क्या है समाधान?
आखिर क्या है जयपुर टैंकर ब्लास्ट की कहानी ?
जयपुर – अजमेर हाईवे के भांकरोटा से दिल दहला देने वाली तस्वीर सामने आ रही हैं जहां पर बीते शुक्रवार को करीब 3: 23 पर एक भयानक हादसा हो गया , हादसा इतना भयानक था कि लोगों को समझ नहीं आ रहा था कि इससे बचा कैसे जाए ?
एक समय तक तो लोगों को केवल आग ही आग दिखाई दे रही थी। जयपुर के गैस टैंकर हादसे के शिकार बने लोगों की चीख अभी भी कानों में गूंज रही है। इस हादसे ने 14 लोगों को मौत के घाट उतार दिया, जबकि दर्जनों अभी भी दर्द से तड़प रहे है।
इस हादसे से जुड़ी कई जानकारी हर रोज सामने आ रही है। इसी बीच बताया जा रहा है कि गैस टैंकर के अन्य वाहनों से टकराने के बाद यह भीषण हादसा हुआ।
इस हादसे में लगभग 300 मीटर तक आग की लपटे नजर आई, और करीब 40 से ज्यादा वाहन आग की चपेट में आ गए। हालांकि गनीमत यह रही कि घटना स्थल के पास में ही दो पेट्रोल पंप और एक स्कूल भी था लेकिन आगे की लपटे पेट्रोल पंप तक नहीं पहुंच सकी नहीं तो और भी भयानक हादसा हो सकता था।
इस घटनाक्रम में चौंकाने वाली एक और बात सामने आई है कि ,जो गैस टैंकर का ड्राइवर था वह जिंदा बचकर निकल गया। उसे पता था कि जिस दिशा में गैस का रिसाव ज्यादा हो रहा है उसकी उल्टी दिशा में भागने से उसकी जान बच सकती हैं ,हालांकि ड्राइवर की तलाश अभी भी जारी है ।
कौन है जिम्मेदार ?
इस घटनाक्रम का जिम्मेदार ट्रक ड्राइवर को बताया जा रहा है क्योंकि उसकी ही लापरवाही से यह दुर्घटना घटी है आमतौर पर देखने में यही आता है कि जो तेज रफ्तार ट्रक होते हैं वह किसी न किसी घटना का शिकार हो जाते हैं ऐसा ही इस जयपुर गैस कांड में माना जा रहा है आपको बता दें जयपुर अजमेर हाईवे पर एलपीजी गैस टैंकर और सीएनजी गैस टैंकर की जोरदार टक्कर होने के बाद यह घटना घटी है।
कुछ लोग इससे प्रशासन को भी जिम्मेदार बता रहे हैं, क्योंकि हाईवे पर बहुत ज्यादा कट लगे होने से भी वाहन चालक वाहन को नियंत्रित करने में असफल रहते हैं जिसकी वजह से भी बहुत सी दुर्घटनाएं सामने आती हैं।
कितने लोगों की हुई मौत?
अगर हम सूत्रों की माने तो इस हादसे में लगभग 14 लोगों की जिंदा जलने के कारण मौत हो गई और 40 से भी ज्यादा लोग गंभीर रूप से घायल बताए जा रहे हैं जिनको नजदीकी अस्पतालों में भर्ती किया गया है। स्थानीय लोगों की माने तो इस हादसे में और भी ज्यादा लोगों की मौत की आशंका व्यक्त की जा रही है हालांकि प्रशासनिक दबाव के कारण ज्यादातर न्यूज़ रिपोर्टर घटना में मृत हुए लोगों की सही जानकारी बताने से डरते हैं जिससे यह भी अनुमान लगाया जा सकता है कि इस घटनाक्रम में इससे ज्यादा भी लोगों की मौत हुई होगी।
कौन बना चश्मदीत ?
टाइम्स ऑफ इंडिया के रिपोर्ट के मुताबिक घटना स्थल के पास में ही यह घर बना हुआ था जहां पर एक पूरा परिवार रह रहा था। परिवार के मुखिया भंवर लाल ने बताया कि दर्द में चिल्ला में रहे लोग अपने दर्द को कम करने के लिए कपड़े, पानी या कोई भी ऐसी चीज मांग रहे थे जिससे उनका दर्द थोड़ा कम हो सके। भंवर लाल ने बताया कि लोगों का शरीर जल गया था और उनमें से कई लोग तो मुश्किल से बोल पा रहे थे। इतना भयानक मंजर शायद ही या कि पहले कभी देख होगा ।
आखिर क्या है समाधान?
आजकल दौड़- भाग भरी जिंदगी में लोगों को एक पल का भी चैन नहीं है , न जाने कितने ही लोग दिन और रात एक जैसा काम कर रहे हैं। बस पैसा कमाने की एक होड़ सी लगी हुई है, जिसकी वजह से अक्सर लोग दुर्घटनाओं का शिकार हो जाते हैं।
अगर हम वाहन चालकों की माने तो वाहन चालक स्पीड मीटर को और ज्यादा बढ़ाना चाहते हैं , तेज रफ्तार वाहनों की तो आज इतनी ज्यादा मांग है कि पूछो ही मत ! हर एक गली नुक्कड़ में लोग सबसे ज्यादा स्पीड वाला वाहन रखे मिल जाते हैं, इसमें चाहे दोपहिया वाहन हो या चार पहिया या भारी भरकम वाहन ,सभी के साथ केवल एक ही बात देखने को मिलती है कि किसी के पास भी समय नहीं है हर कोई चाहता है टाइम से पहले पहुंचना । लेकिन इस भागम- भाग में लोग अपनी जिंदगी या गंवा देते है,जिसका जीता जागता उदाहरण जयपुर अजमेर गैस कांड है।
इस सबका समाधान है पूर्ण गुरु द्वारा बताई गई सद्भक्ति जिससे लोगों के मन में शांति आए तो इस दौड़ भाग भरी जिंदगी में भी शांति पूर्वक पल बिताए जाएं।
आखिर क्या है जयपुर टैंकर ब्लास्ट की कहानी